दोहे- असत्य
झूठ/असत्य ---------------- दोहे ***** राह-राह गोरस बिके, हाला बैठ बिकाय। सत्य नापता है गली, झूठ मिठाई खाय।।०१…
झूठ/असत्य ---------------- दोहे ***** राह-राह गोरस बिके, हाला बैठ बिकाय। सत्य नापता है गली, झूठ मिठाई खाय।।०१…
मेरी प्रथम वायुमार्ग यात्रा- दिनांक- १०-०२-२०१८ ********************* मैं राहुल प्रताप सिंह &quo…
दोहा मुझको घायल कर दिया, तेरे नैनन तीर। तेवर ऐसा आपका, जैसे नीरज नीर।।०१।। आचार्य प्रताप
दोहे ------ आज बताता हूं तुम्हें, ऋतु वसंत की बात। बच्चे-बूढ़े भी करें, राग-द्वेष की बात।।०१।। ==============…
#दोहे सात वार सप्ताह के, अठवांँ है परिवार। सुखद रहा परिवार तो, सुखद रहें सब वार।।०१।। ----- संध्या का यह समय …
दोहा -------- काया कमसिन कामिनी , मन मेरा मकरंद । अब तुम पर ही मैं लिखूं , प्यारे प्यारे छंद ।।०१।। ------- न…
#दोहे सुंदर मुखड़ा देखकर, मोहित हुआ प्रताप। ज्ञान बड़ा सौंदर्य से, सुंदरता अभिशाप।।०१।। मुखड़ा सुंदर है बड़ा,…
💐💐💐💐💐💐💐💐💐🌷🌷🌷🌷🌷🌷🌷🌸🌸🌸🥀🌹🌺🌺🌺 जन्म दिन पर आधारित दोहे ***************************** जन्म …
दोहे ***** ०१ सुंदर मुखड़े से मिली, आज नयी पहचान। सुंदरता तो क्षणिक हो, वाणी सब कुछ जान।।०१।। ०२ बड़ी बात मत …
#नमामि_सर्वेभ्यो। #तिथिः- २१-०२-२०२० #शिवरात्रि_पर्वस्य_शुभाशयाः #नमामि_देव_शंकरः -#पञ्चचामर_छदस्…
दोहा रहिमन तुलसी जायसी, वृंदावन व कबीर। और बिहारी संग में , दोहा सरिता नीर।। -आचार्य प्रताप
दोहा रहिमन तुलसी जायसी, वृंदावन व कबीर। और बिहारी संग में , दोहा सरिता नीर।। -आचार्य प्रताप
गुलाबी सर्दी में एक विरह गीत ---------------------------------------------------------- दृगजलों को च…
कई मुक्त सृजनकर्ताओं को पढ़ने के बाद एक कुंडलियाँ -----------------------------------------------------------…
दो पंक्तियाँ ---------------- क्या कहूँ कैसे कहूँ मनमीत मेरे और कितने दुःख हृदय में मैं छुपाऊँ। सोचता हूँ रा…
दोहे ज्ञानदायनी शारदे , माँ का मंगल रूप। वर दे वीणा धारिणी , चलूँ ज्ञान अनुर…
दोहे ज्ञानदायनी शारदे , माँ का मंगल रूप। वर दे वीणा धारिणी , चलूँ ज्ञान अनुरूप।। ०१।। प्रेम मिलन …
विधा-पञ्चचामर _ छंद ************************************** प्रणाम माँ तुम्हें करे प्रताप शान से सदा । अपार …
# अपराजिता_छंद विधान-(नगण नगण रगण सगण लघु गुरु) (111 111 212 112 12) 14 वर्ण, 4 चरण, दो-दो चरण समतुकांत ।…
प्रभात दृश्य में एक गीत जैसा कुछ --------------------------------------- प्रभात दृश्य देखिए। विशाल वृक्ष देखि…
दोहे ---------- एक राशि से अन्य पर , विचरण करते आप। संक्रांति त्योवहार तब , आता कहें प्रताप।।०१।। ---- …
कुछ महान पंडितों ने कबीर दास जी को गलत ठहराते हुए कहा कि :- दोहा **** काल करै सो आज कर , आज करै …