दोहा प्रयास

दोहा
हम रटत रहन तुम नटत, पढ़त लिखत अब नाहिं।
पढ़ अगर नहिं सकत अहो,नटत नटत ही जाहिं।।
"प्रताप"
Achary Pratap

समालोचक , संपादक तथा पत्रकार प्रबंध निदेशक अक्षरवाणी साप्ताहिक संस्कृत समाचार पत्र

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